41st All India National Group Song Competition : 2015-16 (Gwalior) 41वीं अखिल भारतीय राष्ट्रीय समूहगान प्रतियोगिता

20-21 दिसम्बर, 2015 को 41वीं अखिल भारतीय राष्ट्रीय समूहगान प्रतियोगिता आईटीएम यूनिवर्सिटी परिसर, ग्वालियर (म.प्र.) में सम्पन्न हुई। यह प्रतियोगिता निम्न बिन्दुओं के कारण यादगार बनगई:-
  • प्रथम बार हिन्दी, संस्कृत एवं लोकगीत प्रतियोगिता एक साथ एक स्थान पर हुई।
  • इस बार अभी तक की अधिकतम 51 प्रान्तों की टीमों की सहभागिता रही
  • अरुणाचल प्रदेश में हमारा कार्य बहुत कम है। फिर भी वहाँ की टीम ने भाग लिया।
  • ग्वालियर शहर के 15 स्कूलों के 260 बच्चों ने 51 टीमों के प्रतिभागी बच्चों एवं आमंत्रित अतिथियों और परिषद् सदस्यों के साथ “देश हमें देता है सबकुछ, हम भी तो कुछ देना सीखें” गीत का गायन किया जो कि बहुत ही अद्भूत एवं प्रेरणादायक प्रदर्शन था।
  • उद्घाटन कार्यक्रम के फोटो स्मारिका “स्वरांजलि 2015” में उसी दिन छपकर अगले दिन 21 दिसम्बर को वितरित की गई।

उद्घाटन समारोह के मुख्य अतिथि केन्द्रीय इस्पात एवं खनन मंत्री माननीय श्री नरेन्द्र सिंह तोमर जी रहे। उन्होंने समूहगान के कार्यक्रम के माध्यम से संस्कार व व्यक्ति निर्माण के कार्य में परिषद् की भूमिका की सराहना की तथा विशिष्ट अतिथि आई.टी.एम. यूनिवर्सिटी के कुलाधिपति श्री रमाशंकर सिंह जी ने बच्चों में संगीत के माध्यम से शिक्षा प्रदान करने के विशिष्ट कार्यक्रम के होने पर परिषद् की भूमिका पर प्रभावशाली वक्तव्य दिया। स्थानीय महापौर श्री विवेक नारायण शेजवलकर जी विशिष्ट अतिथि रहे। कार्यक्रम अध्यक्ष राष्ट्रीय अध्यक्ष श्री सीताराम पारीक जी ने इस वर्ष संयुक्त रूप से प्रतियोगिता कराने व परिषद् के विभिन्न आयामों की जानकारी दी। अतिथियों का परिचय एवं स्वागत राष्ट्रीय मंत्री संगठन (क्षेत्र -12) सीए अरुण डागा एवं संचालन राष्ट्रीय मंत्री, राष्ट्रीय समूहगान डॉ॰ त्रिभुवन शर्मा ने किया। परिषद् का परिचय राष्ट्रीय संयुक्त महामंत्री श्री अशोक जाधव ने दिया।

प्रतियोगिता का परिणाम इस प्रकार रहा : – हिन्दी समूहगान में हरियाणा उत्तर प्रथम, पंजाब उत्तर द्वितीय व हरियाणा दक्षिण तृतीय, संस्कृत समूहगान में दिल्ली दक्षिण प्रथम, राजस्थान मध्य द्वितीय व मध्य भारत उत्तर तृतीय तथा लोकगीत में पंजाब दक्षिण प्रथम, असम द्वितीय व उडीशा तृतीय स्थान प्राप्त किये।

समापन समारोह में मुख्य अतिथि श्रीमती माया सिंह कैविनेट मंत्री महिला एवं बाल विकास (मध्य प्रदेश शासन) थीं। उन्होंने महिलाओं के विकास एवं सुरक्षा में भारत विकास परिषद् की इस चरित्र निर्माण कार्यक्रम से जोड़ते हुए प्रभावशाली वक्तव्य दिया। मुख्य वक्ता सेवा निवृत्त मेज़र जनरल राज मेहता जी, चण्डीगढ़ ने कहा कि पुरस्कार में दीमक या जंग लग सकती है परन्तु याददाश्त हमेशा जीवित रहती है। उन्होंने कहा कि इस कार्यक्रम की प्रस्तुति अन्तर्राष्ट्रीय स्तर की थी।

विशिष्ट अतिथि ग्वालियर विकास प्राधिकरण अध्यक्ष श्री अभय चौधरी जी, क्षेत्र विकास प्राधिकरण के अध्यक्ष श्री राकेश जादौन थे, अतिथि परिचय क्षेत्रीय मंत्री संस्कार डॉ॰ के.एस.मंगल ने दिया एवं संचालन राष्ट्रीय मंत्री समूहगान श्री कंवल साहनी व प्रान्तीय महासचिव उमेश शर्मा ने संयुक्त रूप से किया। आभार प्रदर्शन कार्यक्रम संयोजक श्री विष्णु जैन ने दिया। कार्यक्रम की भव्यता कई वर्ष तक ग्वालियर को याद रखेगी।